मंजूषा पण्डे को क्या आपत्तिजनक लगा मेरे ब्लॉग में,
ये तो मैं नहीं जानती लेकिन इतना ज़रूर जान गयी हूँ यहाँ आकर कि
महिलाओं को महिलाओं से ही तकलीफ़ है . पुरूष तो बेचारे जान छिड़कते
हैं हम पर . अच्छा होता यदि मञ्जूषा जी बता ही देतीं कि वोह क्या है
जिसे आपत्तिजनक माना जाये
रोज़ी
jai ho
ReplyDeleteओह...
ReplyDeleteशुभकामनायें आपको भी !
you have posted this post just like very popular blogger dr.anwar jamal ji .he always challenges his rivals in this way .well you must read your previous post [वोह लौंडा पीछे पीछे तो आएगा ] then you can realize that what is wrong with your blog .
ReplyDelete
Deleteशिखा जी, एक तो आप किसी भी तीसरे से मेरी तुलना मत कीजिये, मैं किसी की तरह नहीं हूँ . ये अनवर जमाल क्या बेचते हैं मुझे नहीं मालूम ..........मुझे अगर बता सकें तो ये बताइए कि इस रचना में गन्दा क्या है
लौंडा गन्दा है ?
पीछे गन्दा है ?
आएगा गन्दा है ?
________आखिर क्या गन्दा है जिसे साफ़ करना चाहिए ..........